बुढ़ापा खुद एक समस्या है।यदि हम अपने शरीर की तुलना किसी किले से करें तो अतिश्योक्ति नहीं होगी. जिस तरह …
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जंगलों पर छाया इंसानों का आतंक: एक अनदेखा संकट
हाल ही में एक प्रमुख अखबार की हेडलाइन ने ध्यान खींचा—“शहर में बंदरों और कुत्तों का आतंक।” यह वाक्य पढ़ते …
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जैसा चिन्तन, होगा वैसा ही मन
हमाराजै सा चिन्तन होगा वैसे ही हमारा मन होगा । आदमी का स्वभाव अच्छा या बुरा होता है वह उसी …
विश्व स्वास्थ्य दिवस – ध्रुव-2
मानकर सकारात्मकता से जीवन को हम चलाएं तभी जीवन खुद खूबसूरत बन जाएगा | हमें अब यह समझना होगा की …
विश्व स्वास्थ्य दिवस – ध्रुव-1
प्रश्न आता हैं कि स्वास्थ्य हैं क्या ? इसका सार रूप में उतर यही होगा हमारा शरीर का सदैव स्वस्थ …